ब्यॉयज एंड मशीन्स के परिचालन का एक वर्ष पूरा हुआ, विकास का महत्वाकांक्षी एजेंडा तय किया
गुरुग्राम: ब्वॉयज एंड मशीन्स, जो कि प्री-ओन्ड कारों में विशेषज्ञता रखने वाला प्रीमियर डीलरशिप है, के परिचालन का पहला वर्ष आज पूरा हुआ। इस मौके पर कंपनी ने भावी विकास के लिए महत्वाकांक्षी योजनाएं प्रकटित की।
उद्यमी और लक्ज़री कारों में उत्साह रखने वाले, सिद्धार्थ चतुर्वेदी ने आज से ठीक एक साल पहले कोविड-19 महामारी के बीच ब्वॉयज एंड मशीन्स की स्थापना की थी। कंपनी ने मार्च 2022 में वित्त वर्ष के अंत तक अपना राजस्व 60-65 करोड़ रु. और वित्त वर्ष’23 तक वार्षिक राजस्व को 100 करोड़ रु. तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा है।
कंपनी के लिए पहला साल उपलब्धियों भरा रहा है क्योंकि इसने खुद को यूज्ड-कार स्पेस में एक विश्वसनीय खिलाड़ी के रूप में स्थापित किया है।
संस्थापक और प्रबंध निदेशक, श्री सिद्धार्थ चतुर्वेदी ने कहा, ”मुझे इस बात पर बेहद गर्व है कि हमने एक व्यवसाय के रूप में केवल 12 महीनों में अच्छी दूरी तय की है। महामारी के बीच एक व्यवसाय को स्थापित करना कम से कम कहने के लिए कठिन था। लेकिन अब तक की हमारी सफलता प्री-ओन्ड कार व्यवसाय बनाने की हमारी प्रतिबद्धता, समर्पण और जुनून का प्रमाण है जो ग्राहक सेवा और अनुभव के लिए एक नया मानक स्थापित करता है। जबकि हम निश्चित रूप से अपने पहले वर्ष के हासिल पर गर्व कर सकते हैं लेकिन साथ ही हमें भविष्य की ओर भी देखना होगा। आने वाले वर्षों में हमारी सफलता को आगे बढ़ाने के लिए हमारी महत्वाकांक्षी योजनाएं हैं और हमें विश्वास है कि हम वह सब हासिल कर सकते हैं जो हमने करने के लिए निर्धारित किया है।”
कंपनी की बिक्रियों में लैम्बोर्गिनी ह्युराकैनएवियो सीवी स्पेशल एडिशन जैसी दुर्लभ सुपर कारें भी शामिल रहीं जिनमें से भारत में सिर्फ 3 और एशिया में 15 कारें हैं। अब तक कंपनी ने 2.89 करोड़ रु. कीमत की सबसे अधिक महंगी इस कार की बिक्री भी की।
इसने अन्य दुर्लभ ऑटोमोबाइल कारों की भी बिक्री की, जैसे कि पोर्स 911 कैर्रेरा, रोल्स रॉयस घोस्ट, जैगुआर एक्सकेआर एवं हम्मर एच3।
ज़ोरदार विस्तार योजनाएं
ब्वॉयज एंड मशीन्स की योजना पूरे भारत में अपनी उपस्थिति को दमदार तरीके से बढ़ाकर अपने महत्वाकांक्षी विकास लक्ष्यों को हासिल करने की है।
इसने पहले वर्ष में ही अपने गुरुग्राम आधार के अलावा चार शहरों में पैर जमा लिया है और आने वाले वर्ष में तीन और शहरों – अहमदाबाद, इंदौर और चंडीगढ़ में परिचालन शुरू करने की योजना है।
नए बाजारों में शोरूम के अलावा, कंपनी उन शहरों में भी वर्कशॉप खोलने की योजना बना रही है जहां वह पहले से मौजूद है ताकि ग्राहकों को अधिक सुविधाजनक स्वामित्व और सेवा अनुभव प्रदान किया जा सके।
डिजिटल-फर्स्ट एप्रोच
कंपनी की शुरुआती सफलता की चाबियों में से एक और इसकी भविष्य की योजनाओं के लिए अनिवार्य इसका डिजिटल-फर्स्ट दृष्टिकोण है। हम एक ऐसी दुनिया में रहते हैं जो तेजी से डिजिटल हो रही है और यहां तक कि बड़े लेनदेन भी ऑनलाइन हो रहे हैं। महामारी ने इस बदलाव को तेज ही करने का काम किया है।
इसे पहचानते हुए ब्वॉयज एंड मशीन्स ने अपनी ब्रिक-एंड-मोर्टार और डिजिटल बिक्री वास्तुकला को अग्रानुक्रम में विकसित किया। जब लग्जरी कारों जैसी जुनूनी खरीदारी की बात आती है तो कंपनी का ग्राहक आधार ऑनलाइन, अच्छी तरह से शोध और अच्छी तरह से सूचित है। उदाहरण के लिए कंपनी की इन्वेंट्री किसी के लिए भी, देश में कहीं भी उपलब्ध है और इसने लेन-देन एवं इंटरैक्शन में एक हद तक पारदर्शिता लायी है जो पहले यूज्ड-कार स्पेस में नहीं देखी गई थी।
शुरुआत से ही एक मजबूत डिजिटल उपस्थिति होने से न केवल ब्वॉयज और मशीन्स को अपनी विश्वसनीयता जल्दी स्थापित करने की अनुमति मिली है, बल्कि कंपनी को एक व्यापक ग्राहक आधार के संपर्क में भी रखा है, जिससे इसकी उपस्थिति व्यापक हुई है।
अच्छा करने का संकल्प
ब्वॉयज एंड मशीन्स ने अपनी स्थापना के समय से ही अच्छा करने के लिए प्रतिबद्ध एक ईमानदार और जिम्मेदार कॉर्पोरेट नागरिक के रूप में खुद को बनाए रखने का प्रयास किया है। इस प्रतिबद्धता के हिस्से के रूप में, कंपनी ने सामुदायिक जानवरों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए एक अभियान शुरू किया है, जिन्हें आमतौर पर आवारा के रूप में जाना जाता है। इसके प्रमुख अभियान को ‘ईच वन, फीड वन’ नाम दिया गया है। यह प्रत्येक व्यक्ति से अपने पड़ोस के एक जानवर को दिन में एक बार भोजन कराने का आह्वान करता है। कंपनी स्वयं अपने गुरुग्राम मुख्यालय और उसके आसपास 50 कुत्तों को भोजन और पानी उपलब्ध कराती है। इस पहल का और विस्तार करने की योजना है।