किसानों के समर्थन में सडकों पर उतरे मजदूर संगठन
मुकेश कश्यप
नई दिल्ली दिल्ली की केंद्रीय ट्रेड यूनियनों तथा अन्य जन संगठनों की ओर से शहीद भगत सिंह पार्क, आईटीओ, नई दिल्ली में किसानों के आंदोलन के समर्थन में ‘विरोध सभा‘ का आयोजन किया गया। एटक, दिल्ली राज्य कमेटी ने पूरी सक्रियता से इस कार्यक्रम में हिस्सा लिया तथा कार्यक्रम में धीरेंद्र शर्मा, मुकेश कश्यप, महेंद्र पाल सिंह, महावीर सिंह, सूर्यदीप सिंह, राजेश कश्यप, असगर अली, संजीव राणा आदि मौजूद थे। मोदी सरकार से संसद में पारित किसान विरोधी काले कानून-कृषि उत्पादन व्यापार और वाणिज्य संवर्धन और सुविधा अधिनियम 2020, किसान ;संरक्षण एवं सशक्तिकरणद्ध समझौता और कृषि सेवा बिल 2020, आवश्यक वस्तु अधिनियम ;संशोधनद्ध बिल 2020 को तत्काल वापस लेने की माँग मोदी सरकार से की।
एटक की महासचिव अमरजीत कौर ने सभा को सम्बोधित करते हुये किसानों के चल रहे व्यापक आंदोलन का पुरजोर समर्थन किया तथा दिल्ली के सिन्धु बोर्डर पर दिल्ली पुलिस के द्वारा मोदी सरकार के निर्देश पर किसानों पर लाठीचार्ज, आँसू गैस तथा बाटर कैनन के प्रयोग से की गई दमनात्मक कार्यवाही की घोर निंदा की।
एआईटीयूसी की महासचिव अमरजीत कौर ने कहा कि किसानों की माँगो के समर्थन में तथा इन काले कानूनों, श्रमिक विरोधी बिलों के विरु( 26 नवम्बर 2020 को देश की सभी केंद्रीय ट्रेड यूनियनों, फेडरेशनों तथा एसोसिएसनों के साथ देशव्यापी हड़ताल करके प्रतिरोध किया, जिसमें देश के 25 करोड़ मजदूर शामिल हुये।
उन्होंने किसानों का पक्ष रखते हुये कहा कि ये कानून किसान और कृषि विरोधी है जो देश की पारम्परिक कृषि व्यवस्था को नष्ट कर देंगे तथा देश के किसानों की खेती की जमीन कारपोरेट तथा बड़े पूँजीपति हड़प कर देश के किसानों को कारपोरेट तथा बड़े पूँजीपति का बंधुआ मजदूर बना देंगे। हमारे देश में 85 फीसदी छोटे किसान है और उनके उत्पाद की कालाबाजारी कोरपोरेट तथा बड़ी कम्पनियाँ करेंगी, जिसका सीधा असर देश के 80 फीसद कृषि उत्पाद के खुदरा व्यापार पर पड़ेगा, जिसका हजारों अरब का व्यापार देश में है। इन बिलों के चलते मण्डी समितियों तथा न्यूनतम समर्थन मूल्य से देश का किसान बाहर हो जायेगा और कोरपोरेट, बड़ी कंपनिया तथा इजारेदार बड़े पूँजीपति की गिरफ्त में फँस जायेगा ।
उन्होंने सरकार से माँग की कि तत्काल तीनों बिल सरकार वापस ले, आंदोलनरत किसानों के नेताओं से बिना शर्त बात करे तथा स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को तत्काल लागू करके अपने वादे के अनुसार किसान की उपज का लागत से दो गुना मूल्य दे। सभा को पूर्व सांसद तथा खेत मजदूर नेता हनान मुल्ला, अखिल भारतीय महिला फेडरेशन की महासचिव एनी राजा ने भी सभा को सम्बोधित किया।